Monday, November 28, 2016

Delhi Tour Packages

दिल्ली टूर पैकेजेस

दिल्ली की टॉप २१ दरसनीय स्थल, दिल्ली टूर पैकेजेस, Delhi Tour Packages
दिल्ली टूर पैकेजेस –  दिल्ली की टॉप २१ दरसनीय स्थल

2001 की जनगणना के अनुसार 16,753,235 जनसंख्या वाली Delhi की राजधानी नयी दिल्ली है तथा 1, 483 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्रफल में 9,294 वर्गकिलोमीटर का जनसंख्या घनत्व है। यहां की प्रमुख भाषाएं हिन्दी, अंग्रेजी, पंजाबी एवं उर्दू है। यहां दो प्रमुख हवाई अड्डे पालम व इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा है।दिल्ली की जलवायु ग्रीष्मकाल में आमतौर 35 से 45 डि.से. तथा शीतकाल में 4 से 20 डि.से. तथा जून से सितम्बर तक मानसून प्रमुख है।यमुना नदी के किनारे भारत के मध्य में बसी दिल्ली देश का दिल मानी जाती है। समस्त राष्ट्रों के दूतावास तथा हाई कमीशन कार्यालय अपने आंचल में समेटे दिल्ली ने अनेक उतार-चढ़ाव देखें हैं।

दिल्ली की महत्वपूर्ण दरसनीय स्थल

लाल किला
लाल किला: Travel Agents in Delhi

लालकिला – LAL KILA – The Red Fort

विश्वविख्यात लालकिला शंहशाह “शाहजहां” ने बनवाया था। 1638 में बनना प्रारम्भ होकर यह 1648 में पूरा हुआ। स्थापत्य कला व सौंदर्य की अनूठी प्रतिकृति दो किलोमीटर क्षेत्र में फैले लालकिला के मुख्य आकर्षण दीवान-ए-आम, दीवान-ए-खास, मोती मस्जिद व शाही स्नानगृह तथा रंगमहल है। खासतौर पर यहां के संग्रहालय मे मुगलिया शस्त्राशस्त्र, वस्त्र, आभूषण तथा उत्कृष्ट चित्रकला आज तक अविस्थत है।
राष्ट्रपति भवन Rashtrapati Bhavan

भारत के सबसे बड़े पदस्थ अधिकारी राष्ट्रपति आवास कनाट प्लेस से एक किलोमीटर की दूरी पर स्थित राष्ट्रपति भवन मुगल गार्डन तथा अपनी विशिष्टता के कारण विख्यात है।
राजघाट तथा विभिन्न समाधि स्थल Rajghat and Various Memrials

अहिंसा के दम पर अंग्रेजों को भारत छोड़ने के लिये विवश करने वाले राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के समाधि स्थल राजघाट पर स्थित हरे भरे बाग व अन्य वातावरण पर्यटकों को बरबस आकृष्ट कर लेते हैं।

अक्षरधाम मंदिर Akshardham Temple

आतंकी हमले के बाद से विशेषतः देश-विदेश में ख्याति प्राप्त कर गया अक्षरधाम करीब सौ एकड में पसरा है। अनोखी शिल्प विधाओं की आकर्षक स्थली अक्षरधाम भारतीय संस्कृति की अमूल्य थाती है।
गुलाबी पत्थर तथा श्वेत संगमरमर के संयोज

akshardham temple
Akshardham temple:  GOLDEN TRIANGLE TOUR WITH MATHURA VRINDAVAN

न से विशाल परिसर के केन्द्र में स्थापित भव्य महालय अक्षरधाम में शिल्पमंडित 234 स्तम्भ, 9 घुमट मंडप्म्, 20 चतुष्कोण शिखर तथा 20 हजार से ज्यादा बेजोड स्थल है। इसके मध्य में पंचधातु निर्मित स्वर्णमंडित 11 फुट ऊंची भगवान स्वामी नारायण की नयनाभिराम प्रतिमा स्थापित है। भव्य सिंहासनों पर आसीन प्रभु श्री लक्ष्मीनारायण, श्री रामचंद्र-सीताजी, श्री कृष्ण-राधाजी तथा श्रीमहादेव-पार्वती की दर्शनीय संगमरमर की प्रतिमायें स्थापित है।

मैट्रो रेल Delhi Metro
मैट्रो रेल Delhi Metro

मैट्रो रेल Delhi Metro

दिल्ली के आगोश से बाहर आकर ऊंचे खंभों पर दौड़ती मैट्रो रेल का सफर का दिव्य आन्नद प्रदान करता है। यदि दिल्ली प्रवास का अवसर मिले तो यह सवारी अवश्य करें। बरसों याद रखेंगे ।

चांदनी चौक Chandni Chowk
चांदनी चौक Chandni Chowk:  GOLDEN TRIANGLE WITH SHIMLA TOUR

चांदनी चौक Chandni Chowk

यह पुरानी दिल्ली का एक प्रमुख बाजार है जो जामा मस्जिद से बिल्कुल सटा हुआ है। निकट ही कम्पनी गार्डन नाम से विख्यात एक खूबसूरत पार्क है। यहीं विख्यात पराठें वाली गली भी है। पास ही स्थित लाजपत राय मार्केट में इलेक्ट्राॅनिक सामान की थोक खरीद के लिए आस पास के प्रदेशों से भारी संख्या में लोग आते है। चावडी बाजार व नई सडक भी पास है।

कनॉट प्लेस
कनॉट प्लेस

कनाट पैलेस Connaught Place

1920-21 में अंग्रेजों द्वारा प्रारम्भ कराया गया अत्याधुनिक मार्केट प्लेस है।

Reactions to Jama Masjid Delhi
Reactions to Jama Masjid Delhi: AGRA BHARATPUR TOUR PACKAGE

जामा मस्जिद Jama Masjid

मुगल शैली का अनुपम नमूना जामा मस्जिद है। मुगल बादशाह शाहजहां द्वारा निर्मित जामा मस्जिद का निर्माण 1650 में प्रारम्भ होकर 1658 में पूरा हुआ था। जामा मस्जिद की ऊंचाई 40 मीटर एवं तीन प्रवेश द्वार है। जिसमें एक साथ ढाई हजार लोग नमाज पढ़ सकते हैं।

हुमायूं का मकबरा
हुमायूं का मकबरा

हुमायूं का मकबरा Humayun’s Tomb

हुमायूं का मकबरा मथुरा रोड पर स्थित है। यह मकबरा शहंशाह अकबर की मां हमीदा बेगम द्वारा सन् 1564-73 में बनवाया गया था। हुमायूं, हुमायूं की पत्नी, दाराशिकोह तथा फर्रुखशियर व आलमगीर द्वितीय की कब्रे भी इसी मकबरे में हैं।

सफदरजंग मकबरा
सफदरजंग मकबरा

सफदरगंज का मकबरा Safdarjung’s Tomb

सन् 1753 में बनना प्रारंभ हुआ कई साल मंे बनकर तैयार हुआ। सफदरगंज लखनऊ का दूसरा नवाब था। यह 1739 में अपने चाचा सआदत खान का उतराधिकारी बना था। इसीक मौत सन् 1753 में हो गयी थी।

कुतुब मीनार
कुतुब मीनार: DELHI SIGHTSEEING TOUR BY CAR

कुतुबमीनार Qutub Minar

पर्यटन पर आये लोगों के लिये महरौली में स्थित कुतुबमीनार खासतौर से देखने योग्य है। कुतुबदीन ऐबक ने कुतुबमीनार का निर्माण कराया था ।

जंतर मंतर
जंतर मंतर

जंतर-मंतर Jantar Mantar

ऐतिहासिक एवं वैज्ञानिक दृष्टि से खास महत्व रखने वाला यह स्थान संसद मार्ग पर स्थित है। सन् 1725 में जयपुर के राजा सवाई जयसिंह द्वारा यह बनवाया गया ािा।

Delhi Sightseeing Tour by Car
Delhi Sightseeing and  Click Here Find India holiday packages at Swantour.com



इंडिया गेट India Gate

विश्वविख्यात इंडिया गेट का द्वितीय विश्वयुद्ध 1921 में शहीद हुए भारतीय सैनिकों की स्मृति में निर्माण कराया गया था। बयालीस मीटर ऊंचे इंडिया गेट पर हमारे शहीद सैनिकों के नाम भी उत्कीर्ण है। यहां अखंड अमर जवान ज्योति प्रज्जवलित रहती है।

लक्ष्मीनारायण मंदिर (बिड़ला मंदिर)
लक्ष्मीनारायण मंदिर (बिड़ला मंदिर)

बिड़ला मन्दिर Birla Mandir

लक्ष्मीनारायण मंदिर के नाम से भी जाने जाना वाला बिडला मंदिर कनाट प्लेस से लगभग दो किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। विख्यात उद्योगपति बिडला ने सन् 1938 में इस मंदिर का निार्मण कराया था। सारे देश में इस मंदिर की ख्याति है।

तुगलकाबाद किला
तुगलकाबाद किला

तुगलकाबाद किला Tughlakabad Fort

गयासुदीन तुगलक ने सन् 1324 में इस किले का निर्माण कराया था। तुगलकाबाद किले में सात तालाब और एक कुआं है। इस कुएं की गहराई अस्सी फुट है। किल्ले के दरवाजों की संख्या तेरह है।

निजामुद्दीन दरगाह
निजामुद्दीन दरगाह:  SAME DAY AGRA TOUR BY CAR

मकबरा निजामुदीन Tomb Nijamudin

यह पाक मुस्लिम तीर्थ हजरत निजामुदीन के मकबरा के नमा से विख्यात है। सन् 1324-51 में इसे मौहम्मद तुगलक ने तामीर कराया था। इसके नजदीक ही शाहजहां की पुत्री जहांआरा की भी कब्र है। जहां उर्स के दौरान सिर्फ कव्वालियों का आयोजन किया जाता है।

पुराना किला
पुराना किला

पुराना किला Old Fort

किंवदती के अनुसार महाभारत काल में पाण्डवों द्वारा निर्मित कराया गया यह किला भारत का प्राचीन गौरव स्वयं में छुपाये हैं कालान्तर में शेरशाह सूरी द्वारा अपनी पसन्द के अनुसार दो बार इसका निर्माण कराया गया था। पास में स्थित आकर्षण झील में नौका विहार से मन बहलाया जा सकता है।



प्रगति मैदान Pragati Maidan

राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय प्रदर्शनियों के लिये विख्यात तथा देश की राजधानी की शान समझे जाने वाले इस मैदान में अलग-अलग प्रदेशों के भव स्थित है।

द नेशनल जूलॉजिकल पार्क
द नेशनल जूलॉजिकल पार्क

चिडियाघर Zoo

इसका निर्माण 1959 में करवाया गया था। यहां अनेक जातियों के जीव-जंतु व पशु-पक्षी लाये गये है।

लोधी गार्डन
लोधी गार्डन

लोधी गार्डन Lodhi Garden

पर्यटकों के लिये यहां मनमोहक वातावरण है। यहां मौहम्मद शाह का मकबरा, बडा गुम्बद, शीश गुम्बद तथा सिकन्दर शाही मकबरा नामक चार चिताकर्षक भवन भी है।

फिरोजशाह कोटला Feroz Shah Kotla
फिरोजशाह कोटला Feroz Shah Kotla

फिरोजशाह कोटला Feroz Shah Kotla

बादशाह फिरोजशाह तुगलक ने सन् 1354 में फिरोजशाह कोटला की तामीर करायी गयी थी। छतीस फुट आठ इंच लंबा अशोक स्तम्भ भी यहां स्थित है। इसके चहुंओर तीस फुट चैडी दीवार भी स्थित है।

golden triangle tour packages
Golden triangle tour packages

इसके अलावा दिल्ली और उसके आस-पास निम्न दर्शनीय स्थल भी मौजूद हैं –

1. काली माई का मंदिर 2. लोटर टैम्पल 3. योगमाया मंदिर 4. कात्यायनी मंदिर 5. राष्ट्रीय संग्रहालय 6. तीनमूर्ति भवन 7. सूरजकुंड 8. सोहना

यह “दिल्ली टूर – You Should Visit Top 21 Tourist Place in Delhi ”का लेख आपको कैसा लगा जरुर आपके विचार नीचे कमेंट्स बॉक्स में लिखे.

Leave a comment
दिल्ली दर्शनीय स्थल और आज की दिल्ली

Posted on November 21, 2016 under दिल्ली दर्शनीय स्थल, Travel, Travel Agents, Travel Tips
दिल्ली ऐतिहासिक की पृष्टभूमि
दिल्ली ऐतिहासिक की पृष्टभूमि

दिल्ली दर्शनीय स्थल और आज की दिल्ली

दिल्ली ऐतिहासिक की पृष्टभूमि

आज की दिल्ली ऐतिहासिक की पृष्टभूमि मुगलो की बसै हुई एक अदभुत वास्तुकला जो पूरी दुनिया में अपनी ख्याति के लिए पहचानी जाती है जैसे हम सभी जानते है की दिल्ली की यात्रा करते वक्त कोई भी यह बात महसूस कर सकता है कि वह ऐतिहासिक महत्व वाले आधुनिक मेट्रोपॉलिटन शहर में है। दिल्ली का इतिहास खूब लंबा और उतार-चढ़ाव वाला रहा है। दिल्ली ने कई साम्राज्यों के उत्थान और पतन को देखा है। आज की दिल्ली सात शहरों के खंडहरों पर बनी है, जिस पर हिंदू राजपूतों से लेकर मुगल और आखिर में ब्रिटिशों ने साम्राज्य किया। दिल्ली सही मायनों में एक कॉस्मोपॉलिटन शहर है, जिसने कई जातीय समूहों और उनकी संस्कृति व परंपराओं को दोहन किया है। यहां की कला, हस्तशिल्प, खान-पान, त्योहारों और जीवनशैली और परम्पराओ में भी साफ झलकता है।

दिल्ली परंपराओं और नवीनता का सटीक मिश्रण है। दिल्ली की यात्रा पर कोई भी व्यक्ति पर्यटन की वास्तविक शृंखला को निहार सकता है- ऐतिहासिक स्मारकों से आधुनिक वास्तुकला के आश्चर्यों तक, पारंपरिक बाजारों से मेगा मॉल्स तक और बगीचों से लेकर अध्यात्मिक केंद्रों तक। दिल्ली की यात्रा पर आए हैं तो इन प्रमुख ऐतिहासिक पर्यटन आकर्षणों को देखे बिना न जाएं- कुतुब मीनार, हुंमायूं का मकबरा, लाल किला और पुराना किला। ब्रिटिश काल में बने राष्ट्रपति भवन और इंडिया गेट अपने आप में खास है। लोटस टेम्पल और दिल्ली हाट जैसे आधुनिक पर्यटन केंद्र भी दिल्ली में है। इसके अलावा दिल्ली में कई स्मारक और संग्रहालय हैं, जैसे- राष्ट्रीय संग्रहालय, राजघाट, शांति वन, जंतर मंतर आदि और बहुत कुछ ।

दिल्ली के पर्यटन स्थल
दिल्ली के पर्यटन स्थल : Golden Triangle Tour Packages

दिल्ली के पर्यटन स्थल

दिल्ली प्रसिद्ध गोल्डन ट्राइंगल सर्किट का हिस्सा है, जिसमें दिल्ली, आगरा और जयपुर भी आते हैं। कई पर्यटक भारत आने पर दिल्ली से जयपुर और आगरा के लिए ही जाते हैं। आगरा में ही विश्व प्रसिद्ध वास्तु-आश्चर्य ताज महल है की खूबसूरती के हेर कोई दीवाना है ।

दिल्ली को व्यापार का स्वर्ग कहा जाता है। दिल्ली में खरीदारी के दौरान, पर्यटकों को कई वस्तुओं में विविध विकल्प मिल जाते हैं, जैसे- भारतीय कारपेट्स, रेशम, जेवर, चमड़े और चांदी के बर्तन, हस्तशिल्प, हाथ से प्रिंट किए सूती वस्त्र, रेडीमेड गारमेंट्स। आप किसी डिजाइनर लेबल, ब्रांडेड प्रोडक्ट या स्थानीय स्तर पर बने सामान की खरीदारी कर रहे हैं, तो आपको दिल्ली की यात्रा करते वक्त सब मिल जाएगा। फिर चाहे वह एयर-कंडीशंड मॉल्स हो या सड़क किनारे लगने वाली स्टॉल्स, आपको मोल-भाव जरूर करना होगा। यदि आपको किसी शहर को मनमोहक रूप से समझना है तो उसके बाजारों में घूमकर देखिए। दिल्ली में यात्रा के दौरान आप यह सुनिश्चित करें कि चांदनी चौक और चावड़ी बाजार जैसे पुरानी दिल्ली के बाजारों में घूमने का आपको भी मौका मिले। इन बाजारों में अपना अनूठा भारतीय माहौल है। दिल्ली में खरीदारी करने के अनुभव को यह और शानदार बना देगा। करोल बाग और हौजखास गांव में भी बाजार की दुकानें मिल जाएंगी। दिल्ली पर्यटन ने दिल्ली हाट में कलाकारों के लिए स्थायी दुकानें बनाई हैं, जो पिछले कुछ वर्षों से लोकप्रिय शॉपिंग मार्ट के तौर पर उभरी है।

विदेशियों के लिए दिल्ली भारत का प्रमुख एंट्री पॉइंट है। दिल्ली अच्छे-से जुड़ा हुआ है, जिससे विदेशी पर्यटक हवाई, रेल या सड़क मार्ग से बड़ी आसानी से दिल्ली पहुंच सकते हैं।

दिल्ली के पर्यटन स्थल
दिल्ली के पर्यटन स्थल

दिल्ली आने का सबसे अच्छा वक्त

दिल्ली की  घूमने का सबसे अच्छा वक्त है अक्टूबर से मार्च तक का समय सब से अछा मन जाता है । इस दौरान मौसम खुशनुमा होता है। पर्यटक शहर के अलग-अलग नजारों का लुत्फ उठा सकते हैं। गर्मियों में दिल्ली का तापमान 45 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाता है। इस वजह से पर्यटकों को सलाह दी जाती है कि वे गर्मियों में दिल्ली न आएं। उन्हें लू लगने की आशंका ज्यादा रहती है।

दिल्ली की ऐतिहासिक जगहें

इंडिया गेट
राष्ट्रपति भवन
लाल किला
जामा मस्जिद
गुरुद्वारा बांग्ला साहिब
जंतर मंतर
कुतुब मीनार
बहाई मंदिर (लोटस टेम्पल)
राज घाट
पुराना किला
लोधी गार्डन
हुमायूं का मकबरा
सफदरजंग का मकबरा
अक्षरधाम मंदिर
कनॉट प्लेस
दिल्ली हाट
लक्ष्मीनारायण टेम्पल (बिड़ला मंदिर)
इस्कॉन टेम्पल
नेशनल जूलॉजिकल पार्क
निजामुद्दीन दरगाह
राज घाट
बिजय मंडल
सुनहरी मस्जिद
इंदिरा गांधी राष्ट्रीय केंद्र
जमाली कमाली मस्जिद
लाल कोट
म्यूटिनी मेमोरियल (गदर स्मारक)
कालका जी मंदिर
राष्ट्रीय विज्ञान केंद्र
दिगंबर जैन मंदिर
पांच इंद्रियों का बगीचा (गार्डन ऑफ फाइव सेंसेस)
राष्ट्रीय रेल संग्रहालय

दिल्ली की यात्रा की महत्वपूर्ण जानकारी
दिल्ली की यात्रा की महत्वपूर्ण जानकारी with Travel agents in India

दिल्ली  की यात्रा की महत्वपूर्ण जानकारी

भारत की राजधानी नई दिल्ली में  एक साल  में बड़ी संख्या में पर्यटक पहुंचते हैं। दुनिया के सबसे बड़े महानगरों में शुमार इस शहर तक पहुंचना मुश्किल नहीं है। देश के अलग-अलग हिस्सों और विदेशों से कई लगातार फ्लाइट्स, ट्रेन और बस इस शहर में पहुंचती हैं।

यदि आपको दिल्ली पहुंचना है तो यहां-वहां देखने की जरूरत नहीं है। हम आपको कुछ आसान रास्ते बताएंगे, जिससे आप लाल किला, कुतुब मीनार, लोटस टेम्पल और काफी कुछ को अपने में समेटने वाले शहर तक पहुंच सकते हैं।

हवाई मार्ग से

दिल्ली का इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट दुनिया के सभी महत्वपूर्ण शहरों से जुड़ा हुआ है। इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट से तकरीबन सभी बड़ी इंटरनेशनल एयरलाइंस अपनी फ्लाइट्स संचालित करती हैं। पालम डोमेस्टिक एयरपोर्ट एक घरेलू विमानतल है, जहां भारत के अन्य बड़े शहरों से आने वाली उड़ानें आती हैं।

नई दिल्ली को बाकी दुनिया से जोड़ने वाली बड़ी इंटरनेशनल एयरलाइंस

ब्रिटिश एयरवेज- लंदन (हीथ्रो एयरपोर्ट)
एयर फ्रांस – पेरिस से (चार्ल्स डी गॉल एयरपोर्ट)
चाइना एयरलाइंस – रोम- फ्यूमिसिनो
जापान एयरलाइंस- टोक्यो
श्री लंका एयरलाइंस – कोलंबो

रेलू एयरलाइंस जो नई दिल्ली को अन्य भारतीय शहरों से जोड़ती हैं

मुंबई से    कोलकाता से    बेंगलुरू से
एयर इंडिया
जेट लाइट
जेट एयरवेज कनेक्ट
इंडीगो एयरलाइंस
गो एयर
इंडीगो एयरलाइंस
स्पाइस जेट
इंडीगो
स्पाइस जेट
गो एयर
रेल मार्ग से

अपने आधुनिक और संगठित नेटवर्क से भारतीय रेलवे दिल्ली को करीब-करीब सभी बड़े और छोटे केंद्रों से जोड़ता है। शहर में तीन बड़े रेलवे स्टेशन हैं- नई दिल्ली, पुरानी दिल्ली और निजामुद्दीन। पैलेस ऑन व्हील्स, फेयरी क्वीन और रॉयल ओरिएंट एक्सप्रेस जैसी लग्जरी ट्रेनें भी नई दिल्ली कैंटोनमेंट रेलवे स्टेशन से चलती हैं। राजधानी एक्सप्रेस रेलगाड़ियां नई दिल्ली को राज्यों की राजधानियों से जोड़ती है। शताब्दी एक्सप्रेस रेलगाड़ियां नई दिल्ली को पड़ोसी शहरों से जोड़ती है।

सड़क मार्ग से

दिल्ली भारत के सभी बड़े महानगरों से राजमार्गों और सड़कों के माध्यम से अच्छे-से जुड़ा हुआ है। राज्य में तीन बड़े बस स्टॉप्स हैं- कश्मीरी गेट, सराय काले खान और आनंद विहार पर इंटर स्टेट बस टर्मिनस (आईएसबीटी)। शहर में कुछ और पॉइंट्स भी हैं, जहां से कई राज्यों की और प्राइवेट चलने वाले परिवहन सुविधाओं जैसे- एयरकंडीशंड, डीलक्स और साधारण कोच भी संचालित होते हैं।

दिल्ली में यात्रा कैसे करें

दिल्ली में यात्रा करने के लिए बसें, मेट्रो ट्रेन, ऑटो रिक्शा के साथ ही साइकिल-रिक्शा भी है। टूरिस्ट टैक्सी अन्य राज्यों से परिवहन के लिए हैं, वहीं पीली और काली टैक्सियों का इस्तेमाल दिल्ली में किसी भी एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुंचने के लिए किया जा सकता है। यह सुरक्षित तो हैं, लेकिन तुलनात्मक रूप से महंगी सेवा हैं। दिल्ली ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन (डीटीसी) बसें शहर के हर इलाके में जाती हैं और यह परिवहन का सबसे सस्ता साधन है। ऑटो रिक्शा भी एक विकल्प हैं, लेकिन सही यात्री किराया तय करने के लिए मोल-भाव करना बेहद जरूरी हो जाता है। विलासिता पूर्ण विशेष पर्यटक बसें भी पैकेज्ड टूर्स के साथ उपलब्ध हैं। यह बसें दिल्ली के सभी पर्यटन केंद्रों का भ्रमण कराती है। हाल ही में शुरू हुई दिल्ली मेट्रो रेलवे लाइन दिल्ली के सभी महत्वपूर्ण स्थानों को आपस में जोड़ती है। यह सुविधाजनक और सबसे अच्छा साधन है।

दिल्ली में खरीदारी
दिल्ली में खरीदारी

दिल्ली में खरीदारी

दिल्ली में स्थानीय बाजार और खरीदारीः दिल्ली में शॉपिंग करने का अलग ही आनंद है। आपको यहां हर वस्तु मिल जाएगी। आकर्षक कपड़े, तांबे के बर्तन, लकड़ी की कारीगरी, जेवर, चमड़े और धातु की कृतियों से लेकर सुगंधित तेलों तक। दिल्ली में ही आपको पॉश, उच्च स्तरीय शॉपिंग मॉल से लेकर शहर के दिल में स्थित लोकल मार्केट तक सभी मिल जाएंगे।

सरकारी और राज्यों के एम्पोरियमः बाबा खड़क सिंह मार्ग (कनॉट प्लेस के पास) राज्यों के एम्पोरियम है, जहां आपको उन राज्यों के अधिकृत हस्तशिल्प मिल जाएंगे। लेकिन यहां मोल-भाव नहीं होता, रेट फिक्स है।
कनॉट प्लेसः खरीदार तो जैसे चुंबक जैसा खिंचे चले आते हैं यहां। दुकानों और फुटपाथ पर जेवरों, चमड़े की वस्तुओँ, कपड़ों, जूते और अन्य रुचिकर और रंगबिरंगी वस्तुएं बेचने वालों की कमी नहीं है।
पालिका बाजारः कनॉट प्लेस में यह एक अंडरग्राउंड मार्केट है। बड़ी संख्या में स्थानीय लोग यहां उपभोक्ता सामग्री खरीदने पहुंचते हैं। मोल-भाव भी खूब करते हैं। विदेशी पर्यटकों को अक्सर बढ़ा-चढ़ाकर कीमत बताई जाती है, इसलिए मोल-भाव जरूरी है।
खान मार्केटः दिल्ली के लोकप्रिय शॉपिंग इलाकों में से क है- खान मार्केट। सामान्य तौर पर यहां विदेशी राजनयिक और विदेशी ही ज्यादा आते हैं। यहां कई लोकप्रिय बुकशॉप्स और कॉफी शॉप्स हैं। जैसे कि फुल सर्कल और कैफे टर्टल।
हौज खास गांवः डिजाइनर फर्नीचर शॉप्स, आर्ट गैलरी और बुटीक के लिए यहां आइए।
दिल्ली हाटः आईएनए मार्केट के पास यह एक ओपन एयर फूड और क्राफ्ट बाजार है। पारंपरिक हस्तशिल्पों, जेवरात और घर के सजावटी सामान के लिए प्रसिद्ध है। यहां आप किफायती दर पर पूरे देश का खाना चख सकते हैं
अंसल प्लाजाः यह एक आधुनिक शॉपिंग मॉल है, जहां आपको कपड़ों के लोकप्रिय विदेशी ब्रांड्स से लेकर विश्वसनीय कॉस्मेटिक्स और परफ्यूम ब्रांड्स भी मिल जाएंगे।
Luxury Hotels in Delhi
Luxury Hotels in Delhi

दिल्ली में होटल

व्यापार और पर्यटन के लिहाज से दिल्ली भारत के सबसे महत्वपूर्ण शहरों में से एक है। सालभर में यहां कई पर्यटक आते हैं। यहां सभी शीर्ष उच्च स्तरीय होटल्स, डीलक्स के साथ ही बजट होटल्स भी हैं। दिल्ली के होटल्स सभी जेबों और पसंद के अनुसार है। विलासिता पूर्ण आराम के लिहाज से, दिल्ली में दुनियाभर से आने वाले पर्यटकों के रहने के लिए फर्स्ट-क्लास भारतीय और अंतरराष्ट्रीय चेन उपलब्ध है। दिल्ली में कुछ टॉप एंड होटल्स हैं: द लीला पैलेस, द इम्पीरियल, द ओबेरॉय, ताज महल होटल, आईटीसी मौर्य, हिल्टन गार्डन, ली मेरिडियन और शांग्रिला का इरोज होटल आदि। स्टैंडर्ड बजट होटल और मध्यम किराये वाले गेस्ट हाउस से लेकर कम खर्चीले यूथ होस्टल्स और लॉज तक, दिल्ली में हर तरह के मुसाफिर के ठहरने की व्यवस्था है। नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के पास पहाड़गंज इलाके में बजट होटलों और लॉजेस की भरमार है। यहां पैसा बचाया जा सकता है, इसलिए कई विदेशी इन्हीं होटल्स में रहना पसंद करते हैं। इन होटलों में चेक-इन करने से पहले रूम और होटल को अच्छे-से जांच लें। इनके अलावा भी दिल्ली में कई होटल हैं, जो सभी यात्रियों के बजट के मुताबिक सेवाएं देते हैं।

Delhi Sightseeing Tour by Car
Delhi Sightseeing with India holiday packages

दिल्ली में घूमने लायक जगहें

इंडिया गेट

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
इंडिया गेट पत्थर का बना एक स्मारक है, जो पहले विश्व युद्ध में शहादत देने वाले भारतीय सैनिकों की याद में बनाया गया था। यदि आप दिल्ली में घूमने निकले हैं तो निश्चित तौर पर पहली जगह इंडिया गेट ही होगी। भारतीय सैनिक ब्रिटिश आर्मी का हिस्सा थी और उसने अपनी ताकत बढ़ाने की कोशिश कर रहे ब्रिटिश साम्राज्य की सैन्य ताकत का प्रतिनिधित्व किया। इंडिया गेट का डिजाइन एडविन लुटियंस ने बनाया था। 42 मीटर ऊंचे इस ढांचे को बनाने में 10 साल लगे थे।

राष्ट्रपति भवन
राष्ट्रपति भवन

राष्ट्रपति भवन

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
राष्ट्रपति भवन दिल्ली का एक प्रसिद्ध स्मारक है। यह भारत के तत्कालीन वाइसरॉय का महल था। इस समय राष्ट्रपति भवन में भारत के राष्ट्रपति रहते हैं। यह भवन भी एडविन लुटियंस ने डिजाइन किया था। 1911 में इसका निर्माण शुरू हुआ और इसके बनने में करीब 19 साल लगे। राष्ट्रपति भवन के पश्चिमी हिस्से में एक बहुत ही खूबसूरत मुगल गार्डन है। हर साल बसंत में यह गार्डन आम लोगों के लिए खोला जाता है। सिर्फ 25 रुपए की रजिस्ट्रेशन फीस चुकाकर राष्ट्रपति भवन और मुगल गार्डन की सैर की जा सकती है। 30 से ज्यादा पर्यटकों के ग्रुप को रियायत दी जाती है और 12 साल से कम उम्र के बच्चों से कोई शुल्क नहीं वसूला जाता।

लाल किला
लाल किला

लाल किला

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
लाल पत्थर से बना यह लाल किला 2 किलोमीटर चौड़ा है। शहर की ओर इसकी ऊंचाई 33 मीटर है जबकि नदी की ओर 18 मीटर। यह किला शाहजहां ने 1638 में बनवाया था। 10 साल बाद 1648 में यह बनकर तैयार हुआ था। इसके अंदर कई इमारतें हैं, जिनमें जनसभा के लिए दीवान-ए-आम, मोती मस्जिद, रंगीन महल और शाही स्नान गृह शामिल हैं। पारसी, यूरोपीय और भारतीय स्थापत्य कला से सुसज्जित यह किला अपने आप में बेजोड़ है।

Reactions to Jama Masjid Delhi
Reactions to Jama Masjid Delhi

जामा मस्जिद

श्रेणीः धार्मिक
जामा मस्जिद पुरानी दिल्ली में स्थित है। यह दिल्ली की एक प्रमुख मस्जिद है। शहंशाह शाहजहां ने कई इमारतों का निर्माण कराया। उनमें भारी-भरकम खर्च से बना यह आखिरी आलीशान भवन है। यह देश की सबसे बड़ी मस्जिदों में से एक है। इसके आंगन में एक साथ 25 हजार लोग आ सकते हैं। इस मस्जिद का निर्माण 1644 में शुरू हुआ था और 1658 में पूरा हुआ। 5000 कलाकारों ने इसके निर्माण में भाग लिया था। जामा मस्जिद में तीन भव्य दरवाजे हैं और 40 फीट ऊंची दो मीनारें और चार टावर हैं। यह लाल पत्थर और संगमरमर से बनी है।

गुरुद्वारा सिस गंज साहिब
गुरुद्वारा सिस गंज साहिब

गुरुद्वारा सिस गंज साहिब

श्रेणीः धार्मिक
“जब तक एक पवित्र व्यक्ति गरीब ब्राह्मणों की खातिर अपना सिर नहीं गिराता, तब तक राजा की तानाशाही से बचने की कोई उम्मीद नहीं मिल सकती।” यह शब्द थे उस शख्स के जो हिंदुओं पर मुगलों के अत्याचार के खिलाफ पूरी ताकत से लड़ा। वह सिखों के नौवें गुरु, गुरु तेग बहादुर साहिब जी थे। साहसी गुरु, जो वीरता और दृढ़ निश्चय के प्रतीक बने। गैर-मुस्लिमों के धार्मिक विश्वास को बचाते हुए वीरगति को प्राप्त हुए। मुगल शासक औरगंजेब ने उन्हें मौत के घाट उतार दिया था। गुरुद्वारा सिस गंज साहिब इन साहसी गुरु की शहादत का प्रतीक है।

गुरुद्वारा बांग्ला साहिब
गुरुद्वारा बांग्ला साहिब

गुरुद्वारा बांग्ला साहिब

श्रेणीः धार्मिक
गुरुपर्व और गुरुनानक जयंती पर नई दिल्ली में गुरुद्वारा बांग्ला साहिब की चमक देखना अपने आप में भव्यता के साक्षात दर्शन करना है। इस अवसर पर गुरुद्वारा जगमगा उठता है। दो दिन चलने वाले अखंड पथ पर विशेष कीर्तन कार्यक्रम होते हैं। इस जगह का पूरा माहौल ही शांतिदायक है। यदि आप इन पर्वों के दौरान दिल्ली में रहे तो इस जगह जाने का अवसर कतई न चूके।

जंतर मंतर
जंतर मंतर

जंतर मंतर

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
संसद मार्ग पर कनॉट प्लेस में स्थित यह ढांचा महाराजा जय सिंह द्वितीय की ऑब्जर्वेटरी में से एक है। जयपुर के शासक ने 1725 में इस ऑब्जर्वेटरी का निर्माण कराया था। इस पर बड़ा सा सनडायल बना है, जिसे प्रिंस ऑफ डायल कहा जाता है। इस ऑब्जर्वेटरी में अन्य उपकरण दिव्य गणनाओं और ग्रहणों के पूर्वानुमानों में मदद करते थे। इसका निर्माण जयपुर के राजा जय सिंह द्वितीय ने दिल्ली में किया था। दिल्ली का जंतर मंतर अपने भीमकाय उपकरणों की मदद से खगोलीय गणनाओं में मदद करता था। जंतर-मंतर में कई ऐसे उपकरण हैं, जो खगोलीय ब्रह्मांड के रास्ते का ग्राफ बना सकते हैं।

कुतुब मीनार
कुतुब मीनार

कुतुब मीनार

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
दिल्ली का कुतुब मीनार दुनिया का सबसे ऊंची ईटों से निर्मित मीनार है। इसकी ऊंचाई 72.5 मीटर है। दिल्ली के पहले मुस्लिम शासक कुतुबुद्दीन ऐबक ने 1193 में इसका निर्माण कराया था। उस समय कुतुब मीनार में सिर्फ एक तलघर था। उनके उत्तराधिकारी और दामाद शम्सउद्दीन इल्तुतमिश ने तीन और टावर बनाए। कुतुब मीनार भारतीय-इस्लामिक स्थापत्य कला का शुरुआती और आज भी मौजूद प्रमाण है। इसके आसपास बने प्राचीन ढांचों को कुतुब परिसर कहा जाता है।

बहाई मंदिर (लोटस टेम्पल)
बहाई मंदिर (लोटस टेम्पल)

बहाई मंदिर (लोटस टेम्पल)

श्रेणीः धार्मिक
बहाई मंदिर या लोटस टेम्पल का यह नाम उसके फूल जैसे आकार की वजह से है। यह दिल्ली के दक्षिणी हिस्से में स्थित है। इरानी-कनाडाई वास्तुविज्ञ फरीबुक साहबा ने 1986 में इसे डिजाइन किया था। इसकी 27 शुद्ध सफेद रंग की पंखुड़ियां हैं। यह मंदिर बहाई पूजास्थल है, जो दिल्ली के पर्यटन आकर्षणों में से एक है; यह स्थापत्य कला से जुड़े कई पुरस्कार जीत चुका है और कई पत्रिकाओं और अखबारों में प्रमुखता से प्रकाशित हुआ है। लोटस टेम्पल में जाने का सबसे अच्छा वक्त अक्टूबर से मार्च के बीच होता है। साल के यह माह दिल्ली के मनोहर दृश्यों को निहारने के लिए श्रेष्ठ है।

बिजय मंडल
बिजय मंडल

बिजय मंडल

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
दिल्ली के पुरातात्विक इतिहास का गूढ़ रहस्य हासिल करना वास्तव में एक मुश्किल काम है! आपको नहीं पता कि सदियों पहले बनाए गए इन शांत खड़े रहस्यमय ढांचों में क्या छिपा है। हाल ही में मैं एक पहेलीनुमा संरचना के संपर्क में आया, जिसके बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं है। कई घंटों के शोध के बाद, मैंने पाया कि यह सबसे सनकी शासक मुहम्मद बिन तुगलक का “हजार स्तंभों” वाला महल था। किले का यह विशाल परिसर जहांपनाह का हिस्सा था, दिल्ली की सल्तनत के चार शहरों में से एक।

सुनहरी मस्जिद
सुनहरी मस्जिद

सुनहरी मस्जिद

श्रेणीः धार्मिक
प्राचीन काल में भारत सोने की चिड़िया कहलाता था। इसी वजह से बड़ी संख्या में शासकों ने यहां हमले किए। इन शासकों के अत्याचार का एक बड़ा इतिहास है। उन्होंने न केवल देश की संपदा को लूटा, बल्कि खून भी बहाया। ऐसे ही एक शासक के अत्याचारों को दिल्ली की एक छोटी मस्जिद में दर्ज किया गया था। कुलीन मुगल रोशन-उद दौला जफर खान ने इसे बनवाया था। यह मस्जिद चांदनी चौक में है और उसे सुनहरी मस्जिद के नाम से जाना जाता है।

इंदिरा गांधी नेशनल सेंटर
इंदिरा गांधी नेशनल सेंटर

इंदिरा गांधी नेशनल सेंटर

कला मानवीय प्रकृति का अभिन्न अंग है। यह इकलौती ऐसी गतिविधि है, जिसके जरिए विचारों को उतनी ही शुद्धता के साथ पेश किया जा सकता है। इंदिरा गांधी कला केंद्र देश का प्रमुख सरकारी संस्थान है, जो खास तौर पर देश में कला के संरक्षण और प्रोत्साहन के लिए बना है।

दिवंगत प्रधान मंत्री राजीव गांधी ने 24 मार्च 1987 में इसका उद्घाटन किया था। उन्होंने अपनी मां इंदिरा गांधी की याद में बनवाया था।

जमाली कमाली मस्जिद
जमाली कमाली मस्जिद: Golden Triangle with Shimla Tour

जमाली कमाली मस्जिद

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
मेरे जैसा इतिहास प्रेमी भी कई संरचनाओं में दफन आकर्षक रहस्यों और राज़ों के बारे में जान नहीं सकता। संभवतः इसी वजह से मैं हमेशा अपने आसपास छिपे किलों और मकबरों का पता लगाने की कोशिश करता हूं। और मुझे राजधानी में फिर ऐसी ही एक और जगह मिल गई। महरौली में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण पार्क में स्थित जमाली कमाली मस्जिद और मकबरा दिल्ली के पास स्थित एक और प्राचीन संरचना है। इतिहास में इस जगह के असामान्य नाम का रहस्य खुला। दो लोग थे – शेख जमाली कंबो और उनकी साथी कमाली। दोनों की याद में ही यह जगह बनी थी।

लाल कोट
लाल कोट

लाल कोट

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
लाल कोट, का शाब्दिक अर्थ है- ‘लाल किला’। दक्षिण दिल्ली में स्थित यह दीवारों का गढ़ या सैन्य चौकी है। लाल पत्थर से बनाया गया यह दिल्ली का पहला किला था।

शहर की ऐतिहासिक भव्यता की एक झलक पाने के लिए हर एक को यहां आना चाहिए। लाल कोट अपने वक्त का पहली रक्षात्मक संरचना थी। इसे 731 ईसवी में तोमर शासक अनंग पाल प्रथम ने बनवाया था। यह लाल कोट आयताकार है, जिसकी परिधि 2.25 किलोमीटर है।

गदर स्मारक
गदर स्मारक

गदर स्मारक

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
एक सदी पहले, जब भारत ब्रिटिश राज के अधीन था, कुछ साहसी लोगों ने उपनिवेश के खिलाफ अभियान छेड़ा था। उन्होंने वह शुरू किया जिसे आज हम, “पहला स्वतंत्रता संग्राम” कहते हैं। यह इतना आसान नहीं था; हजारों सैनिकों ने क्रूर ब्रिटिशर्स से लड़ने में अपनी जान न्योछावर कर दी। उनके नायकत्व और समर्पण की निशानियां ही रखी गई हैं गदर स्मारक में।

बेगमपुरी मस्जिद
बेगमपुरी मस्जिद

बेगमपुरी मस्जिद

श्रेणीः धार्मिक
दिल्ली पर कई राजवंशों ने राज किया। दिल्ली उनकी राजधानी बनी रही। इस वजह से यहां अलग-अलग वंशों की स्थापत्य कला के अंश देखे जा सकते हैं। कई संरचनाएं तो अभी भी हमारी पहुंच से बाहर है। हम उनके बारे में ज्यादा कुछ नहीं जानते। मैंने भी शहर के एक विरान गांव में ऐसा ही कुछ देखा। दक्षिण दिल्ली के बेगमपुर गांव में बेगमपुरी मस्जिद है। यह एक प्राचीन मस्जिद है, जिसके तुगलक युग के होने के संकेत हैं। 14वीं सदी में बनी यह मस्जिद फिरोज शाह तुगलक के दरबार के प्रधान मंत्री खान-ए-जहां-जुनान शाह की बनाई सात प्रसिद्ध मस्जिदों में से एक है।

द नेशनल जूलॉजिकल पार्क
द नेशनल जूलॉजिकल पार्क: Agra Bharatpur Tour Package

द नेशनल जूलॉजिकल पार्क (राष्ट्रीय प्राणी उद्यान)

बचपन में देखे अति-मोहक “चिड़िया-घर” को कोई कैसे भूल सकता है? इस तथ्य से कोई इनकार नहीं कर सकता कि बच्चों को जानवरों से विशेष लगाव होता है और चिड़ियाघर ही एक ऐसी जगह है, जिसे हर आयु वर्ग का व्यक्ति पसंद करता है। तकरीबन हर दिल्लीवासी अपने जीवनकाल में कम से कम एक बार तो राष्ट्रीय प्राणी उद्यान या “चिड़ियाघर” जरूर गया होगा। चिड़ियाघर शहर के सबसे रुचिकर पिकनिक स्थलों में से एक है और यहां वर्ष में किसी भी वक्त देखा जा सकता है।

मिर्जा गालिब की कब्र
मिर्जा गालिब की कब्र

मिर्जा गालिब की कब्र

श्रेणीः धार्मिक
शायद ही कोई ऐसा होगा जिसने हर काल में प्रसिद्ध मिर्जा गालिब की दिल को छू जाने वाली शेरो-शायरी और कविताएं नहीं सुनी होंगी। अक्सर उन्हें उर्दू साहित्य का शेक्सपीयर कहा जाता है। अपनी बेहतरीन कविताओं और छोटी कहानियों की वजह से मिर्जा गालिब ने पूरी दुनिया में शौहरत पाई है। वह मुगल शासन के दरबार में एक जाने-पहचाने शायर हुआ करते थे। उन्हें मुगल शासक बहादुर शाह जफर का काफी करीबी बताया जाता है। गालिब दिल्ली में रहे और यह शहर उनके दिल के काफी करीब था। वह इस शहर को दुनिया की आत्मा कहा करते थे।

कालका जी मंदिर
कालका जी मंदिर

कालका जी मंदिर

श्रेणीः धार्मिक
भारतीय विरासत की एक प्रमुख विशेषता है यहां के असंख्य मंदिर, जो देश के सभी हिंदुओं के लिए बहुत महत्व रखते हैं। हमारी राजधानी में भी कई प्राचीन हिंदू मंदिर हैं। जिनका निर्माण सैकड़ों साल पहले किया गया था। जब हम दिल्ली के प्राचीन मंदिरों की बात करते हैं तो पहला नाम मेरे दिमाग में आता है- कालका जी मंदिर।

नेशनल साइंस सेंटर
नेशनल साइंस सेंटर

नेशनल साइंस सेंटर

अपने अकादमिक जीवन में हममें से कितने लोगों को विज्ञान से प्रेम था? निश्चित ही ज्यादा को नहीं होगा। विज्ञान के बारे में हमेशा से यह धारणा रही है कि इस विषय को सिर्फ बुद्धिमान दिमाग ही पढ़ और समझ सकते हैं। लेकिन एक ऐसी जगह है, जो हर किसी को इस जटिल विषय का दीवाना बना देगी। यह है नई दिल्ली का नेशनल साइंस सेंटर। नेशनल साइंस सेंटर एक विज्ञान संग्रहालय है। इसका उद्देश्य लोगों में विज्ञान के प्रति जागरूकता बढ़ाना और विज्ञान के क्षेत्र में उनकी रुचि बढ़ाना है।

दिगंबर जैन मंदिर
दिगंबर जैन मंदिर

दिगंबर जैन मंदिर

श्रेणीः धार्मिक
लाल मंदिर के तौर पर प्रसिद्ध, दिगंबर जैन मंदिर दिल्ली का सबसे पुराना जैन मंदिर है। इस मंदिर का ताल्लुक मुगल काल से भी रहा है। तब से, अब तक इसमें कई बदलाव आए हैं। पार्श्वनाथ को समर्पित इस मंदिर में एक मानस्तंभ है। यह मंदिर लाल पत्थर से बना है और इसके अंदरूनी हिस्सों पर खूबसूरत नक्काशी की गई है। शुद्ध सोने की कलाकारी और पेंटिंग। मंदिर की पहली मंजिल पर एक धार्मिक हॉल है। मंदिर परिसर में एक बुक स्टोर भी है, जहां जैन धर्म से जुड़े साहित्य का विस्तृत कलेक्शन उपलब्ध है।

निजामुद्दीन दरगाह
निजामुद्दीन दरगाह

निजामुद्दीन दरगाह

श्रेणीः धार्मिक
दिल्ली में स्थित निजामुद्दीन दरगाह निजामुद्दीन औलिया की दरगाह है। उन्हें दुनिया के सबसे प्रसिद्ध सूफी संतों में गिना जाना है। यह दिल्ली के प्रसिद्ध पर्यटक स्थलों में शुमार है। हर रोज सैकड़ों की संख्या में लोग इस स्थान पर जाते हैं।

भव्य हजरत निजामुद्दीन मकबरे में जालियां लगी है। यहां संगमरमर की आर्च और आंगन है। इन जालियों में भक्त लाल धागे बांधते हैं। इस मान्यता के साथ कि उनकी इच्छा पूरी होगी। मकबरे के अंदर मजार को सुगंधित गहरे हरे रंग के कपड़े से ढंका हुआ है। भक्त प्रार्थना करते हैं, मजार पर गुलाब की पंखुड़ियां फेंकते हैं और अगरबत्ती लगाते हैं।

पांच इंद्रियों का उद्यान
पांच इंद्रियों का उद्यान

पांच इंद्रियों का उद्यान

नई दिल्ली में 20 एकड़ में फैले पांच इंद्रियों के उद्यान का उद्घाटन फरवरी 2003 में एक आरामदेह जगह के तौर पर किया गया था। जहां जाकर सुस्ता सके और तरोताजा हो सके। इसे दिल्ली पर्यटन परिवहन निगम (डीटीटीडीसी) ने विकसित किया है। शहर की भीड़ और उसके शोर से भागना हो तो इस हरे आकर्षक बगीचे और सलीके से रखी गई भव्य चट्टानों पर आकर सुस्ता सकते हैं। यह उद्यान कई हिस्सों में बंटा हुआ है।

akshardham temple
Akshardham Temple

अक्षरधाम मंदिर

श्रेणीः धार्मिक
भारत मंदिरों की धरती है। इसे दिल्ली में समझा जा सकता है। अक्षरधाम दिल्ली के सबसे महत्वपूर्ण धार्मिक स्थलों में से एक है। जिसने अपनी धर्मपारायणता और अध्यात्मिकता के लिए प्रसिद्धि पाई है। दिल्ली के सबसे महत्वपूर्ण स्मारकों में से एक है अक्षरधाम मंदिर। वास्तुकला संबंधी वैभव के लिए इसे जाना जाता है। 234 पिलर, 9 गुंबद और 20 चतुर्भुजाकार शिखर –बेहतरीन कलाकारी और शिल्पकारी को प्रदर्शित करते हैं। भारत के स्थापत्य शास्त्र की तर्ज पर बना दिल्ली का अक्षरधाम मंदिर डिजाइनर्स की रचनात्मकता और इंजीनियर्स की विद्वता का आदर्श उदाहरण है।

राजस्थान से लाए गए 6000 टन गुलाबी पत्थरों पर शिल्पकारी के जरिए यह मंदिर बना है। कारीगरी मंदिर के डिजाइन में है, जिसका इस्पात और लोहे जैसी धातुओं से कोई लेना-देना नहीं है। दीवारों पर बहुत महीन काम किया गया है, जो इस मंदिर की सबसे बड़ी खासियत है। पगोड़ा, जो अलग-अलग ध्यान मुद्राओं में बैठे साधु-संतों को प्रदर्शित करता है।

राज घाट
राज घाट

राज घाट

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
दिल्ली में राज घाट एक पवित्र स्थान है, जहां राष्ट्रपिता महात्मा गांधी पंचतत्व में विलीन हुए थे। 30 जनवरी 1948 को महात्मा गांधी की हत्या के अगले ही दिन उनका अंतिम संस्कार इसी जगह पर किया गया था। राज घाट यमुना नदी के पश्चिमी किनारे पर स्थित है और इसी वजह से इस जगह को महात्मा गांधी के अंतिम संस्कार के लिए उपयुक्त माना गया था।

राज घाट एक सरल वर्गाकार प्लेटफार्म है। इस पर काले रंग का स्मारक पत्थर लगा है, जिस पर “हे राम” लिखा हुआ है। आखिरी सांस लेने से पहले गांधीजी के मुंह से यह दो शब्द ही निकले थे। ईटों के जिस प्लेटफार्म पर गांधीजी को मुखाग्नि दी गई थी, उसी के आकार का काले पत्थर से बने प्लेटफार्म पर समाधि है। महात्मा गांधी की समाधि के ईर्द-गिर्द कुछ बेहद खूबसूरत पौधे और पेड़ लगाए गए हैं। यह एक शांतिपूर्ण माहौल तैयार करते हैं। ऊंची दीवारों से इस जगह की सुरक्षा की जाती है। पास ही में बने दो संग्रहालयों को महात्मा गांधी को समर्पित किया गया है। राज घाट के उत्तर में स्थित शांति वन में जवाहर लाल नेहरू की समाधि बनाई जाएगी।



पुराना किला
पुराना किला

पुराना किला (ओल्ड फोर्ट)

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
पुराना किला एक आयताकार किला है, जो चौड़ाई में करीब दो किलोमीटर तक फैला है। मुख्य दरवाजे के भीतर एक छोटा सा पुरातत्व संग्रहालय है। गेट के ऊपर से नई दिल्ली का नजारा बेहतरीन है। हर शाम को यहां साउंड एंड लाइट शो होता है।

लोधी गार्डन
लोधी गार्डन

लोधी गार्डन

श्रेणीः बगीचा
किसी जमाने में इसे लेडी वेलिंगटन पार्क कहकर पुकारा जाता था। बेहतरीन लोधी गार्डन में मुबारक शाह, इब्राहीम लोधी और सिकंदर लोधी की मजारें बीच-बीच में दिखाई देंगी। यह बगीचा सुबह-सुबह कसरत करने वालों के लिए खासा पसंद है। उन्हें भी पसंद है जिन्हें अकेलापन अच्छा लगता है।

हुमायूं का मकबरा
हुमायूं का मकबरा

हुमायूं का मकबरा

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
मथुरा रोड के पास स्थित इस भव्य बगीचे का गुंबद मुगल स्थापत्य कला का एक बेहतरीन उदाहरण है। इसे उनकी बेवा हामिदा बानु बेगम ने 1565 में बनवाया था। चारदीवारी के भीतर वर्गाकार बगीचे हैं, जिसमें रास्ते और पानी की नालियां हैं।

सफदरजंग मकबरा
सफदरजंग मकबरा

सफदरजंग मकबरा

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
हुमायूं के मकबरे की परंपरा में यह दिल्ली का आखिरी उद्यान मकबरा है। 1754 में बना सफदरजंग का मकबरा आकार और स्तर में इतना भव्य नहीं है। इसमें जंगली महल, मोती महल, बादशाह पसंद और मदरसा जैसे छोटे मंडप हैं।

कनॉट प्लेस
कनॉट प्लेस

कनॉट प्लेस

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
दिल्ली के सबसे बड़े व्यवसायिक क्षेत्रों में से एक कनॉट प्लेस में कई तरह की दुकानें, व्यवसाय, रेस्त्रां और एम्पोरियम है। हर वर्ग और बजट के लिए यह दुकानें मुफीद हैं।

दिल्ली हाट
दिल्ली हाट

दिल्ली हाट

श्रेणीः मौज-मस्ती और मनोरंजन
यह पारंपरिक बाजार का माहौल देता है। लेकिन यहां सभी आधुनिक जरूरतें पूरी होती हैं। हस्तशिल्प, खान-पान और सांस्कृतिक गतिविधियों का मिश्रण यहां दिखता है। यह ऐसी जगह है जहां भारतीय संस्कृति और जातीय खान-पान साथ मिलता है, एक अनूठा बाजार जो भारतीय संस्कृति की समृद्धि दर्शाता है।

लक्ष्मीनारायण मंदिर (बिड़ला मंदिर)
लक्ष्मीनारायण मंदिर (बिड़ला मंदिर)

लक्ष्मीनारायण मंदिर (बिड़ला मंदिर)

श्रेणीः धार्मिक
1938 में उद्योगपति जीडी बिड़ला ने इस मंदिर का निर्माण कराया था। यह दिल्ली के बड़े मंदिरों में से एक है। यह कनॉट प्लेस के पास स्थित है। यह मंदिर देवी लक्ष्मी और उनके पति नारायण को समर्पित हैं। इस मंदिर का उद्घाटन महात्मा गांधी ने किया था। इस करार के साथ कि सभी जातियों के लोगों को यहां आने और आराधना करने की अनुमति होगी।

इस्कॉन मंदिर
इस्कॉन मंदिर

इस्कॉन मंदिर

श्रेणीः धार्मिक
हरे कृष्ण मंदिर से पहचान रखने वाले इस प्रसिद्ध मंदिर में श्री श्री राधा कृष्ण की मूर्तियों की आराधना की जाती है। दक्षिण दिल्ली मे स्थित यह मंदिर लाल पत्थर से बना है। पारंपरिक वैदिक और आधुनिक शैली का मिश्रण यहां के स्थापत्य में दिखता है।

तुगलकाबाद किला
तुगलकाबाद किला

तुगलकाबाद किला

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
1321 में तुगलक के गाजी मलिक ने अपने शासन के चार साल के भीतर दिल्ली के तुगलकाबाद में सबसे मजबूत किले का निर्माण कराया था। भले ही यह आज खंडहर हो गया हो, इसकी भव्यता विशाल है। इसकी दीवारों, गढ़ और बड़े-बड़े टावर के भीतर प्रभावशाली महल, खूबसूरत मस्जिद, और भव्य हॉल्स हैं।

चांदनी चौक
चांदनी चौक: Delhi Sightseeing Tour by Car

चांदनी चौक

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
यह दिल्ली के सबसे पुराने और व्यस्ततम बाजारों में से एक है। एशिया का सबसे बड़ा थोक बाजार भी इसे ही कहा जाता है। शाहजहां ने यह बाजार बनवाया था। लाल किले से जामा मस्जिद तक पुराने शहर में यह बाजार फैला हुआ है।

नेशनल एग्रीकल्चरल साइंस म्युजियम
नेशनल एग्रीकल्चरल साइंस म्युजियम

नेशनल एग्रीकल्चरल साइंस म्युजियम

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
आईसीएआर के नेशनल एग्रीकल्चरल साइंस सेंटर कैम्पस में स्थित यह म्युजियम भारत में अपनी तरह का पहला है। 23 हजार वर्ग फीट फ्लोर एरिया की दो मंजिल की इस इमारत को खास तौर पर डिजाइन किया गया है। इसमें भारत में प्राचीन समय से कृषि क्षेत्र में हुए विकास को दिखाया गया है। हमारे देश की मौजूदा स्टेट-ऑफ-द-आर्ट टेक्नोलॉजी को भी इसमें दिखाया गया है। साथ ही भविष्य की संभावनाएं भी इसमें हैं।

राष्ट्रीय रेल संग्रहालय
राष्ट्रीय रेल संग्रहालय

राष्ट्रीय रेल संग्रहालय

श्रेणीः इतिहास और संस्कृति
मौलाना आजाद रोड स्थित यह भारत के सबसे बड़े संग्रहालयों में से एक है। प्रागैतिहासिक काल से समकालीन कला तक की विविध वस्तुएं यहां उपलब्ध है। संस्कृति मंत्रालय इसकी देखरेख करता है। यह भारत सरकार का ही एक हिस्सा है।

दिल्ली के पास के पर्यटन आकर्षण http://www.indiatravelgroup.com

हरिद्वार
हरिद्वार

हरिद्वार

यह शहर उत्तराखंड में है। भारत के सबसे लोकप्रिय तीर्थस्थलों में से एक है हरिद्वार। गंगा नदी के किनारे होने से इसका महत्व और बढ़ जाता है। इसे सात सबसे पवित्र तीर्थस्थलों में गिना जाता है।

यह न केवल भारतीयों, बल्कि दुनियाभर के धार्मिक पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण है। सालभर भक्त हरिद्वार पहुंचते हैं। यहीं पर 12 साल में एक बार कुंभ मेले का आयोजन भी होता है, जिसमें करोड़ों लोग भाग लेते हैं।

मथुरा
मथुरा: Golden Triangle Tour with Mathura Vrindavan

मथुरा

मथुरा भगवान श्रीकृष्ण की जन्मभूमि है। यह उत्तरप्रदेश में यमुना नदी के पश्चिमी तट पर स्थित है। हिंदू तीर्थस्थल होने के अलावा यह मथुरा जिले का प्रशासनिक स्थल भी है। मथुरा 3,800 वर्ग किलोमीटर में फैला है। मथुरा को “ब्रजभूमि”, भगवान कृष्ण की धरती भी कहा जाता है। यह शहर दिल्ली से दक्षिण-पूर्व में 145 किलोमीटर और आगरा से उत्तर-पश्चिम में 58 किलोमीटर दूर स्थित है। मथुरा भी सालभर पर्यटकों और तीर्थयात्रियों को आकर्षित करता है। शहर की हर गली और नुक्कड़ में भगवान श्रीकृष्ण ने बचपन बिताया है। बांसुरी का संगीत यहां गूंजा है। मथुरा से कई पौराणिक और ऐतिहासिक कहानियां जुड़ी है, जो इस जगह को और खास बनाती हैं।

आगरा
आगरा: Same Day Agra Tour By Car

आगरा

उत्तरप्रदेश में यमुना नदी के किनारे स्थित है आगरा। इसे दुनिया के सात आश्चर्यों में से एक- ताज महल का पर्याय है। यह जगह अपनी खूबसूरती और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है। आगरा राज्य की राजधानी लखनऊ से 363 किलोमीटर दूर स्थित है। यह घरेलू और अंतरराष्ट्रीय, सभी पर्यटकों की यात्रा सूची में जरूर रहता है।



500 और 1000 के बड़े नोटों को बंद और बैंकों में लंबी कतारे
500 और 1000 के बड़े नोटों को बंद और बैंकों में लंबी कतारे

आज की दिल्ली

हर तरफ हाहाकार फिजाओ में सिसकारी की गूंज ने हम सब को तोड़ दिया है | ये जो सरकारकी नीति का भोड़ दंड आम जनता 500 और 1000 के बड़े नोटों को बंदी से  जनता हेर तरफ एक त्राहि त्राहि मची हुई है| पैर ये जो दिल्ली हमेशा से चलती ए है और हमेशा ऐसे ही चलती रहे गई | पहले हम पर मुगलो का सासन था | उन का जमाना खतम हो गया तो अंग्रेजी हुकूमत की त्रासदी दिल्ली ने झेली है | अब तो नेताओ का दौर है | जहा देखो धरना देने बैध जाते है | पर पब्लिक की कोण सुनता है | उन्हें पता नहीं ये दिल्ली है | दिल्ली किसी को बकसति नहीं |  वह बस पञ्च साल की इन्तेजार करती है | फिर ऐसा मजा च्चती है की कांग्रेसः की तरह जीरो पर ला कर छोड़ती है | पब्लिक का दर्द ये सरकार क्या जाने | मोदी हो या तन खान सुब को भीख मागने एक दिन इन्ही के पास आना है ल फिर ये पब्लिक अपना मत दे केर इन को तमाचा जरूर मरे गई | ये मेरा वादा है |  जय हिन्द जय भारत | http://www.indiatravelgroup.com

500 और 1000 के बड़े नोटों को बंद और बैंकों में लंबी कतारे
500 और 1000 के बड़े नोटों को बंद और बैंकों में लंबी कतारे



500 और 1000 के बड़े नोटों को बंद और बैंकों में लंबी कतारे

गतिविधियां 500 और 1000 के नोट में उलझ कर रह गई। वेडिंग सीजन होने के बावजूद बाजार में चौतरफा सन्नाटा दिखा। बड़े शो रूम से लेकर सिनेमा हॉल, होटल-रेस्टोरेंट व छोटे वेंडर तक का धंधा लगभग ठप रहा। सर्राफा बाजार में कारोबार नहीं हुआ। जरूरी घरेलू सामान के लिए लोग तरस गए। आटा, दूध, सब्जी जैसे दैनिक उपयोग की चीजों की खरीददारी के लिए लोग भटकते रहे। बसों व ऑटो रिक्शा में सफर करने वालों को परेशानी से दो-चार होना पड़ा। बवानीखेड़ा में निजी बस के परिचालक ने एक बुजुर्ग महिला को केवल इसलिए नीचे उतार दिया कि उसके पास पांच सौ का नोट था। देवउठनी एकादशी जैसा हर जेब से 500 व 1000 का 0नोट निकलता हुआ दिखाई दे रहा था लेकिन यह बड़े नोट बुधवार को कागज के टूकड़े बनकर रहे गए। बड़े नोट बंद होने से जिले में करीब 20 करोड़ का कारोबार प्रभावित रहा। पेट्रोल पंप पर 500 रुपये से कम तेल नहीं मिल रहा था। लोग भी बड़े नोट को खुला करने के लिए पेट्रोल पंपों पर तेल लेने के लिए पहुंच रहे थे। प्राइवेट अस्पतालों में भी मरीजों को बड़े नोटों के चलते परेशानी का सामना करना पड़ा। पूरे दिन बाजार में अफरा तफरी का माहौल रहा। दुकानदार भी ग्राहकों के इंतजार में बैठे रहे। कई स्थानों पर 500 व 1000 का नोट न चलने के चलते विवाद की स्थिति भी बनी। http://www.indiatravelgroup.com

Jodhpur to masuri tour

The land which has undoubtedly its own way of life; the land that showcases the scintillating part of natural beauty, majestic culture, ancient heritage and grand wildlife; India invites all for a tremendous classical tour at its variant location for various purposes and for different reasons for celebration.

Tour My India takes the privilege to make you get acquainted with the glorified treasures of this amazing ancient country. The country which is full of differences and with the most alluring tour operating services we are ready to assist you to recognize and respect those differences and versatility in a grand and royal manner. For booking, accommodation, transportation and guidance our dedicated members will always stand by you to bring the most impressive Tour My India Travel Services.

From Northern Himalayas to Southern beaches, Eastern jungles to Western deserts, India is flourished with so many cultural and geographical diversities, a perfect reason for India tourism. There is simply no other words that catch the true enigma of this land where great legends still holds its power and impression, the grand architectural structures are the true reflector of history and the life of the spirit can be sacredly glimpsed at different temples and pilgrimage sites at its every corner.

Royal Rajasthan, lying at the west end part is the most blissful state where colorful attires and vibrant cultures are its true enigma. The land of the Rajputs showcases many forts and palaces and sustained museums drawing people to experience impressive travel to India. The city palace in Jaipur and Udaipur are the true pride of royal Rajputana kingdom, Lake Palace in Udaipur at Jag Niwas Island reflects the true sanctity of pure white marble structure. The Chittorgarh Fort symbolizes the valorous tradition of Rajputs. The Amber Fort is the true emblem of both Rajputana and Mughal architectural marvels. Besides, the world famous Pushkar Fair brings huge amount of camel and cattle trade with ancient Hindu practices.

India is also framed with many spiritual and holy regions right from the sacred Himalayan valleys to the oceanic temples of South. Badrinath, Haridwar, Rishikesh, Varanasi, Dwarka at North-east region; Puri, Somenath, Mahabalipuram, Hoysla, Meenakshi Temple, Tirupati Balaji Temple, Konark (Sun) Temple and Ramshwaram Temple in South India are the sacred destination to attain spirituality.

The history of India is engraved deeply and incessantly at its ancient paintings, rock carved structures and sculptures at different ancient caves and monuments. The Ajanta, Ellora and Elephanta in Maharashtra, Hoysala Architecture and temple in Karnataka and ancient Mahabalipuram in Tamil Nadu are the perfect examples for historical connections in India

India Tourism also brings a fantastic opportunity of backwater tour in its vast, eloquent beaches. The magnanimous beaches of Kerala, Goa, Maharashtra and Tamil Nadu soak ever moods along with the tranquility of the nature. Kovalam, Baga, Marine Drive, Calangute, Juhu Beach, Dona Paula Beach are some of the magnificent sea-sides that brings tremendous enjoyable options for the party freaks and the romantic honeymooners along with some relaxing Ayurvedic Treatment Centers and Spa therapies.

But above all these fantastic features, the most royal experience one can have with India tourism is its grand wildlife tour at different dense jungles and sanctuaries. For the welfare of the endangered species and balancing the eco-system, India is designed with more than 500 sanctuaries and bio-reserve. India proudly holds tremendous counts of wild species in the respective zones for great wilderness. The names of Ranthambore, Corbett and Kanha are most popular for tiger tours, where on the other hand Kaziranga in Assam is the perfect home for great Indian Rhinos along with SasanGir in Gujarat to bring the majestic Asiatic Lions. In addition to this, India is a perfect paradise for the bird watchers and for the enthusiastic ornithologists who can easily visit Bharatpur Bird Sanctuary in Rajasthan, Chilka Lake Bird Sanctuary in Orissa, Thattekad Bird Sanctuary in Kerala and more for much fun and excitements.

India is definitely the land of dreams and fantasy and people visiting this incredible land wish to come again and again and experience the true glory of the nation.